कानपुर। स्कूल में बिजली न आने से आक्रोशित छात्रों की ओर से की गयी तोडफोड और प्राचार्य कक्ष में मचाये गए तान्डव की उच्च स्तरीय जांच की रिपोर्ट चौंकाने वाली आयी है। इस रिपोर्ट में स्कूल में तोडफोड करवाने के लिए वहां के प्राचार्य को ही इसका दोषी माना गया है जिसके एवज में उनको यहां से हटाने का काम भी प्रशासिनक अमले की ओर से कर दिया गया है। शहर के कल्याणपुर क्षेत्र में समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित आश्रम पद्धति विद्यालय में छात्रों द्वारा की गई तोड़फोड़ के बाद सीडीओ दीक्षा जैन की जांच में दोषी मिले प्रधानाचार्य संतोष कुमार श्रीवास्तव को समाज कल्याण निदेशालय ने हटा दिया है। उनका तबादला कर हाजीपुर महमूदाबाद, सीतापुर जिले में कर दिया गया है। सीडीओ के निरीक्षण में मिली खामियों के बाद पीडी पीएन दीक्षित की अध्यक्षता में गठित टीम अभी मामले की जांच कर रही है। एक माह पहले कल्याणपुर के इंद्रानगर में संचालित एटीएस स्कूल में करीब 10 घंटे तक बिजली गायब रही थी। गर्मी से बेहाल होकर छात्रावास के 6 छात्र बेहोश हो गए थे, जिन्हें सीएससी में भर्ती कराया गया था। यही नहीं स्कूल प्रधानाचार्य ने छात्रों के पीने के पानी का भी इंतजाम नहीं कराया था। जिससे आक्रोशित छात्रों ने प्रधानाचार्य कक्ष में तोड़फोड़ की थी। सीडीओ ने मौके पर पहुंचकर निरीक्षण किया और छात्रों से पूछताछ की थी। जिसमें छात्रों ने पानी न मिलने, पानी की टंकी में कीड़े होने और हास्टल में मिलने वाले खाने की गुणवत्ता खराब बताई थी। इसके साथ ही उन्हें परिसर में गंदगी मिली थी। कई कमरों के पंखे खराब मिले थे। एक वर्ष पहले लगाए गए कैमरे खराब मिले थे। ये सब खामियां देख सीडीओ नाराज हुईं थीं। उन्होंने समाज कल्याण अधिकारी को जिम्मेदारों (प्रधानाचार्य, बाबू और गृह माता) को नोटिस देकर जवाब तलब करने के निर्देश दिए थे। सीडीओ ने स्कूल में बीते दो वर्ष में खर्च किए गए बजट की जांच करने के निर्देश परियोजना निदेशक को दिए थे। जिसकी जांच अभी पूरी नहीं हुई थी और निदेशालय ने पहले ही प्राचार्य को कानपुर से हटाकर सीतापुर जिले में तैनाती दे दी।