December 3, 2024

कानपुर।25 हजार के इनामी को छुड़ाने के लिए थाना ग्वालटोली के घेराव का मामला अब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दरबार तक पहुंच गया है। सीएम ने सांगा को तलब करके पूरे मामले की जानकारी ली है। वहीं, दूसरी तरफ सांसद देवेंद्र सिंह भोले ने भी सीएम से मिलकर कानपुर पर लंबी चर्चा की है। माना जा रहा है कि सांगा और देवेंद्र सिंह भोले एक बार फिर से आमने-सामने हैं। सांगा ने सीएम से पूरे मामले में उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है। मामले में अकबरपुर लोकसभा से सांसद देवेंद्र सिंह भोले ने बातचीत के दौरान बताया कि वह रविवार को लखनऊ में थे। चुनाव जीतने के बाद सीएम से मुलाकात नहीं हुई थी। इस सिलसिले में वह आशीर्वाद लेने और कानपुर के अहम मुद्दों पर चर्चा करने को लेकर सीएम से मिले। सांसद ने बताया कि कानपुर के हालात पर सीएम से लंबी चर्चा की। लेकिन बातचीत के दौरान सांसद ने सांगा के खिलाफ कुछ भी खुलकर नहीं बताया। वहीं, दूसरी तरफ अभिजीत सिंह सांगा ने बताया कि उन्होंने भी रविवार को सीएम से मुलाकात करके कानपुर पुलिस कमिश्नरेट और शिवा निषाद को जेल भेजने के मामले में सीएम के सामने सभी तथ्यों को रखा है। सीएम से पूरे मामले में उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है। सांगा ने बताया कि पुलिस अपनी जांच में जिस शिवा निषाद को समाजवादी पार्टी का कार्यकर्ता बता रही है। वह भाजपा का बूथ अध्यक्ष और कार्यकर्ता है। फोटो तो टेंपरिंग करके किसी की भी किसी के साथ बनाई जा सकती है। जबकि पुलिस ने अपनी जांच रिपोर्ट में हत्या के प्रयास के आरोपी शिवा का सपा का प्रचार-प्रसार करते हुए फोटो और वीडियो भी अपनी रिपोर्ट में संलग्न किया है।

भाजपा विधायक के थाने का घेराव और हंगामा बवाल के बाद शासन ने पूरे मामले का संज्ञान लिया। डीसीपी सेंट्रल आरएस गौतम की निगरानी में एसीपी कर्नलगंज महेश कुमार ने पूरे मामले की जांच की तो चौंकाने वाले तथ्य सामने आए। पुलिस की जांच रिपोर्ट के मुताबिक जिस शिवा निषाद को भाजपा विधायक अभिजीत सिंह सांगा छुड़ाने के लिए थाने पर हंगामा बवाल किया था। वह शिवा निषाद समाजवादी पार्टी का कार्यकर्ता है। उसने अपनी फेसबुक पोस्ट पर अकबरपुर लोकसभा से प्रत्याशी राजाराम पाल और बिठूर विधानसभा से प्रत्याशी रहे मुनींद्र शुक्ला के साथ लोकसभा में जमकर चुनाव प्रचार किया था। जांच के दौरान पुलिस को शिवा निषाद की सैकड़ों पोस्ट सपा नेताओं के साथ सामने आई हैं। अपनी रिपोर्ट में इन सभी तस्वीरों को भी संलग्न किया है। शिवा पर चार अपराधिक मुकदमें भी हैं। तीन मुकदमें ग्वालटोली थाना और एक मुकदमा जाजमऊ थाने में है। पुलिस की जांच सिर्फ सपा कार्यकर्ता का समर्थन करने ही नहीं, संघ के प्रचार का विरोध करने का मामला भी सामने आया है। गंगा बैराज कटरी के लुधवाखेड़ा ग्राम पंचायत के प्रधान रवि निषाद और उसके चचेरे भाइयों पर शिवा निषाद ने अपने भाई के हत्या की एफआईआर दर्ज कराई थी। जांच के दौरान रवि निधाद और उसके भाइयों को पुलिस ने क्लीनचिट दी थी। पुलिस का मानना था कि शिवा के भाई की गंगा में डूबने से मौत हुई है। हत्या का आरोप निराधार है। शिवा ने अपने भाई की रंजिश का बदला लेने के लिए ही गांव के विशाल पर जानलेवा हमला किया था। जिस मामले में उसे अरेस्ट करके जेल भेजा गया। ग्वालटोली थाने की पुलिस ने हत्या के प्रयास में वांछित चल रहे 25 हजार के इनामी शिवा निषाद को 3 जुलाई को अरेस्ट किया था। अरेस्ट करने के बाद ही बिठूर से भाजपा विधायक अभिजीत सिंह सांगा सैकड़ों समर्थकों के साथ थाने का हंगामा और घेराव किया। आरोपी शिवा निषाद को छोड़ने की मांग करते हुए जमकर बवाल काटा। चार घंटे तक सैकड़ों समर्थकों संग विधायक थाने में बवाल काटे रहे, लेकिन पुलिस ने अपराधी को नहीं छोड़ा। विधायक की मांग पर पूरे मामले की जांच एसीपी कर्नलगंज महेश कुमार को सौंपी थी।———-

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