कानपुर। 91/68 पर अवैध निर्माण थाना क्षेत्र बेकनगंज क्षेत्र इफ्तिखाराबाद में महीनों से चल रहा है जिसकी खबर दैनिक समाचार पत्र विश्ववार्ता ने चित्र सहित प्रकाशित की थी और इस अवैध निर्माण के संबंध में जोन एक प्रभारी रविप्रताप सिंह से भी हमारे संवाददाता ने मुलाकात करके समाचार पत्र की प्रति भी उपलब्ध कराई थी और अवैध निर्माण की जानकारी दी थी। प्रभारी ने बताया था कि मुझे इस अवैध निर्माण की जानकारी नहीं है मैं पता करके कार्यवाही करता हूँ लेकिन गुजरे दस दिनों के बाद भी इसे रोकने की कार्यवाही तो नही हुई अलबत्ता अवैध निर्माण अपनी उर्ध्वगामी गति से अग्रसर है। ये विकास प्राधिकरण की अनदेखी है, जो अब लगभग बन कर तैयार हो चुका है। इस अवैध निर्माण को कथित छुटभैये बिल्डर हाजी रेनू द्वारा करवाया जा रहा है, लगभग 3 करोड़ की लागत से तैयार हो रही 6 मंजिला बन रही 150 वर्ग गज से अधिक भूखंड पर तनी इस इमारत में लगभग डेढ़ दर्जन से अधिक आवासीय फ्लैट हैं, इसके साथ ही लगभग एक दर्जन से अधिक व्यवसायिक दुकानें हैं, जिसे सीधे-साधे लोगों को बेवकूफ बनाकर बेचा जाएगा। अनियमितता की पराकाष्ठा को पार कर चुके छुटभैये इस बिल्डर के जोखिम भरे खेल ने क्षेत्र के सैकड़ों लोगों की जान जोखिम में डाल दी है, जिसे इस इमारत को देखकर समझा जा सकता है। साथ ही यह भी कहा जाता है ऐसे अवैध निर्माणों पर प्रवर्तन विभाग के क्षेत्रीय स्तर के कर्मचारियों के भी धन का निवेश होता है, जिसके कारण बहुमंजिला इमारतों के लाभ में उनकी भागीदारी सुनिश्चित रहती है, जिसके कारण विभागीय नियम दरकिनार कर दिए जाते है, ताकि दिए जाने वाले राजस्व को भी लाभ का हिस्सा बनाकर बंदरबांट कर ली जाये, यदि इन लोगों की जांच आयकर के प्रवर्तन विभाग से करा दी जाये तो आय से अधिक सम्पतियों का व्योरा प्राप्त हो सकता है। केडीए के अधिकारीगण की चुप्पी यह दर्शा रही है मानो इस इमारत पर कोई नियम ही नहीं लागू होता है। इस इमारत का निर्माण पूरी तरह से अवैधानिक है और अधिनियमों का उल्लंघन है। बिल्डर ने भारतीय राष्ट्रीय भवन संहिता का पालन नहीं किया है, जिससे निर्माण की गुणवत्ता और सुरक्षा सुनिश्चित नहीं है। यह इमारत किसी भी समय दुर्घटना का कारण बन सकती है, जिससे एक बड़ी जनहानि हो सकती है। भारतीय राष्ट्रीय भवन संहिता की अनदेखी से छुटभैये बिल्डर भय मुक्त होकर अवैध निर्माण करवाते हैं। भारतीय राष्ट्रीय भवन संहिता देश भर में भवन निर्माण गतिविधियों को विनियमित करने के लिए एक आदर्श संहिता है, लेकिन छुटभैये कथित बिल्डर इसका पालन नहीं करते हैं। यह अनियमितता न केवल निर्माण की गुणवत्ता को प्रभावित करती है, बल्कि यह आमजन की जान जोखिम में डालती है। इस अवैध निर्माण को विकास प्राधिकरण द्वारा स्वीकृत मानचित्र, अग्निशमन विभाग द्वारा अग्नि अनापत्ति प्रमाण पत्र और पर्यावरण प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से सहमति प्राप्त किए बिना निर्माण किया जा रहा है। यह निर्माण पूरी तरह से अवैध है। साथ ही, लोगों को भी जागरूक रहना चाहिए और ऐसे बिल्डरों से दूर रहना चाहिए।