संवाददाता।
कानपुर। नगर में हरकोर्ट बटलर टेक्निकल यूनिवर्सिटी में योग अभ्यार्थियों की नियुक्तियों में धांधली करने का आरोप लगाकर मंगलवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के छात्रों ने जमकर हंगामा किया। कार्यकर्ताओं ने गेट पर ही नारेबाजी की। उनका आरोप है कि अपनों को लाभ देने के लिए एआईसीटीई के नियमों तक को परिवर्तित कर दिया गया। नारेबाजी करते हुए एबीवीपी के कार्यकर्ता एचबीटीयू के गेट पर पहुंचे। इस दौरान सुरक्षा की दृष्टि से उन्हें गार्डों ने गेट के पास ही रोक दिया और गेट बंद कर दिया गया। इस पर कार्यकर्ता और नाराज हो गए और छात्र मुख्य द्वार पर बैठकर ही हंगामा करने लगे। संस्थान में हंगामे की सूची पर एचबीटीयू के छात्र भी गेट के अंदर से एबीवीपी की विरोध करते हुए हंगाम करने लगे। सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची पुलिस ने कार्यकर्ताओं को समझा बुझाकर शांत करा दिया। एचबीटीयू में नियुक्तियों में गड़बड़ी का आरोप लगा कार्यकर्ताओं ने हंगामा किया, लेकिन आपको बता दे कि इससे पहले पिछले साल भी नियुक्तियों में गड़बड़ी होने का आरोप एचबीटीयू पर लग चुका है। लेकिन उसकी जांच अभी तक पूरी नहीं हो पाई हैं। इस साल एक बार फिर से संस्थान पर धांधली को आरोप लगा है। इसी से नाराज कार्यकर्तओं ने वीसी से मिलने की मांग की। संस्थान का साथ देते हुए वहां पर शिक्षा ग्रहण कर रहे छात्र एबीवीपी के विरोध में खड़े हो गए। यहीं नहीं कार्यकर्ताओं को गेट तक खदेड़ा भी। इस भी जब कार्यकर्ता गेट के बाहर पहुंचे तो संस्थान के छात्र गेट के अंदर से उनका विरोध कर रहे थे। सूचना पर पहुंचे एसीपी अकमल खां ने एबीवीपी के कार्यकर्तओं से बात की। इसके बाद प्रतिनिधिमंडल की वीसी से मुलाकात करवाने की बात कही। इसके बाद प्रदर्शन शांत हुआ। कार्यकर्ताओं ने बताया कि 9 जून को संस्थान ने कई पदों पर इसका विज्ञापन अखबारों में प्रकाशित कराया था। इसमें 9 से 17 सितंबर तक साक्षात्कार संपन्न कराने की बात कही गई थी l आरोप है कि एआईसीटीई के मानकों को पूरा न करने वाले अभ्यर्थियों के लिए मानकों को ही बदल दिया गया। बायोकेमिकल इंजीनियरिंग के एसोसिएट प्रोफेसर के लिए सामान्य वर्ग में एक ऐसे पद का विज्ञापन भी कर दिया जिस पर एचबीटीयू ने स्वयं मुख्यमंत्री पोर्टल पर लिख रखा है कि यह प्रकरण उच्च न्यायालय में विचाराधीन है l इस पद के लिए पूर्व में 2021 में विज्ञापन हुआ था तथा इस पद के लिए दिनांक 6 मई 2022 को साक्षात्कार करवाया गया, जो उच्च न्यायालय में लंबित है। फिर भी इस पर नियुक्ति प्रक्रिया हुई तो अभ्यर्थियों को कोर्ट जाना पड़ा। प्रदर्शन करने वालों में मयंक पासवान, आशुतोष तिवारी, अजय दुबे आदि मौजूद रहे।