May 24, 2025

आ स. संवाददाता 

कानपुर। अनुसंधान की छात्रा से यौन शोषण के मामले में फंसे एसीपी मोहसिन खान अब आईआईटी से पीएचडी नहीं कर पाएंगे। उन्हें संस्थान ने टर्मिनेट कर दिया है। आईआईटी प्रशासन का कहना है कि एसीपी मोहसिन खान बिना लीव अप्रूव्ड कराए एब्सेंट चल रहे थे।
आईआईटी प्रशासन ने मोहसिन खान का नाम तत्काल प्रभाव से संस्थान के दस्तावेजों से हटाने के निर्देश दिए  हैं। 11 अप्रैल को मोहसिन को पत्र के माध्यम से टर्मिनेशन की जानकारी दे दी गई थी, लेकिन मोहसिन ने उसका कोई जवाब नहीं दिया है ।
क्राइम ब्रांच में तैनात रहे मोहसिन खान आईआईटी से साइबर विषय में पीएचडी कर रहे थे। उसी संस्थान से पीएचडी कर रही पश्चिम बंगाल की छात्रा ने उन पर यौन शोषण का आरोप लगाया था। पीड़ित छात्रा ने संस्थान से भी एसीपी को निकालने की मांग की थी। दो अप्रैल को संस्थान प्रशासन के अधिकारियों ने इसे लेकर बैठक की।
बैठक में चर्चा हुई कि मोहसिन लंबे समय से बिना कारण बताए और सूचना दिए अनुपस्थित है। इसे उनकी  अनुशासनहीनता मानते हुए तत्काल प्रभाव से उसे टर्मिनेट कर दिया गया।
आईआईटी छात्रा से यौन शोषण के मामले में 12 दिसंबर 2024 को एफआईआर दर्ज हुई। पीड़ित छात्रा ने बताया था कि  मेरी मुलाकात दिसंबर, 2023 में आईआईटी कानपुर में एसीपी मोहसिन खान से हुई थी । दोनों ने  एक-दूसरे का मोबाइल नंबर लिया। 23 जून, 2024 को उन्होंने मुझे फोन किया और कहा कि मेरे गाइडेंस में वे आईआईटी से पीएचडी करना चाहते हैं। इसके लिए हेल्प चाहिए। मैंने हां कर दी। मैंने उनकी एडमिशन फीस जमा कराई। वॉक इन इंटरव्यू के टिप्स दिए। यहां उन्होंने इंटरव्यू दिया। उन्हें एडमिशन मिल गया। फिर हम दोनों करीब आ गए।
इसी बीच खान ने रिश्ते का प्रस्ताव दिया। यह भी बताया कि उनका पत्नी से तलाक होने वाला है। उनकी पांच साल की बेटी है। मैंने उन पर भरोसा कर लिया। उस वक्त मैं एक ब्रेकअप के दर्द से गुजर रही थी। अकेलापन महसूस होता था। खान ने इसका फायदा उठाया।
एसीपी ने मेरे साथ संबंध बनाए। बाद में मुझे पता चला कि वो सिर्फ शारीरिक संबंध बनाने के लिए मुझसे रिश्ते रख रहे हैं। इसी साल नवंबर में मुझे एसीपी खान की सच्चाई पता चल गई। उनकी पत्नी मार्च, 2024 से गर्भवती थीं। जब मैंने विरोध जताया तो एसीपी ने कहा कि उन्होंने परिवार के दबाव में पत्नी से सबंध बनाए हैं।
एक दिसंबर को मुझे एसीपी की पत्नी के इंस्टाग्राम से सबूत मिले कि वे शुरू से ही धोखेबाज कर रहे थे। जब उनके घर जाकर पत्नी से बात की। तब पता चला कि तलाक की बात झूठी है। एसीपी अपनी पत्नी से कभी अलग नहीं हुए थे। मेरे पास उनके साथ की कई तस्वीरें हैं, स्क्रीन शॉट है, जो साबित करते हैं कि एसीपी खान ने मेरा इस्तेमाल किया है।
कल्याणपुर थाने में मुकदमा होने के बाद पुलिस कमिश्नर ने मोहसिन पर कार्रवाई करते हुए तत्काल कानपुर से हटाकर लखनऊ स्थित मुख्यालय से अटैच कर दिया था। घटना के बाद पीड़िता ने डीजीपी को मेल भेजकर इंसाफ की मांग की थी। इसके बाद कानपुर पुलिस की रिपोर्ट पर मोहसिन को निलंबित कर दिया गया था।