संवाददाता।
कानपुर। नगर में शासन की डेडलाइन खत्म होने के बाद भी नगर की सड़कें गड्ढामुक्त नहीं हो सकी हैं। नाले खुले पड़े हैं, फुटपाथ टूटे पड़े हैं। नगर निगम में धन की भी कमी नहीं है। नगर निगम के खजाने में 15 वें वित्त आयोग और अवस्थापना निधि का 126 करोड़ खजाने में है। इसमें 15 वें वित्त आयोग से मिले 28 करोड़ और अवस्थापना निधि से मिले 16 करोड़ रुपए का प्रस्ताव भी तैयार हो चुका है, लेकिन अभी तक कमेटी की मुहर नहीं लगी है। वहीं 15 वें वित्त आयोग से 82 करोड़ रुपये की स्वीकृति शासन ने दे दी है प्रस्ताव भी तैयार किया जा रहा है लेकिन यह भी कमेटी की मुहर के चलते फंसता नजर आ रहा है। जबकि चालू वित्तीय वर्ष 2023-24 31 मार्च को खत्म हो रहा है। ऐसे में तीन माह बचे है। अगर समय रहते टेंडर और अन्य प्रक्रिया नहीं शुरू की गई तो धन लैप्स होने का खतरा है। नगर निगम सदन ने पिछले दिनों कर्रही रोड का नामकरण चंद्रयान तीन रोड कर दिया है। सड़क कई सालों से नहीं बनने के कारण एक से डेढ़ फीट तक गड्ढे होने के कारण लोगों को निकलने के लिए जूझना पड़ता है। करीब 8 करोड़ रुपये से सड़क का निर्माण कराने का प्रस्ताव 15 वें वित्त आयोग से तैयार किया गया है। इसके अलावा अन्य सड़कों का प्रस्ताव तैयार किया गया है। इसी कड़ी में अवस्थापना निधि का 16 करोड़ रुपये से नाला और अन्य प्रस्ताव तैयार किए गए है। धन मार्च 2023 में मिला था, लेकिन अभी तक कमेटी की मुहर नहीं लगी है।15वें वित्त आयोग से 82 करोड़ रुपए और शासन ने नगर निगम को दिए हैं। इसके तहत नगर निगम 20 करोड़ रुपए से औद्योगिक क्षेत्र में सड़क व नाले का निर्माण और 20 करोड़ रुपए से ग्रीन बेल्ट का विकास कार्य कराने का खाका तैयार किया गया है। इसके अलावा 40 करोड़ रुपए से अन्य क्षेत्र में विकास कार्य कराए जाने है। इसका प्रस्ताव तैयार हो रहा है। इन प्रस्तावों को भी कमेटी मुहर लगाएगी। कमेटी में अध्यक्ष महापौर, सचिव व संयोजक नगर आयुक्त, सदस्य जिलाधिकारी, केडीए उपाध्यक्ष और पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण अभियंता है। लोकसभा के चुनाव को देखते हुए माना जा रहा है कि मार्च के पहले पखवारे में चुनाव आचार संहिता लग सकती है। ऐसे में अभी कार्य नहीं शुरू किए गए तो धन फंस जाएगा।