
संवाददाता
कानपुर। झगड़े के बाद पति ने 60 साल की पत्नी की हत्या कर दी। पत्नी को घसीट-घसीटकर लात-घूसे और थप्पड़ मारे। फिर सिर पर लकड़ी के पीढ़े से कई वार किए। लेकिन पोते ने दादी की हत्या करते बाबा को देख लिया।
इस घटना के प्रत्यक्षदर्शी पोते ने बताया कि पहले बाबा ने दादी को थप्पड़ मारे। इसके बाद पास में रखा पीढ़ा उठाया और दादी के सिर पर तेजी से कई वार कर दिए। दादी के सिर से खून निकलने लगा। मेरी आंखों के सामने दादी ने तड़प-तड़पकर दम तोड़ दिया। यह देखकर मैं तेजी से चिल्लाया, तो बाबा मेरा भी गला दबाने लगे। मुझे कमरे के अंदर ले गए। इसके बाद मुझे कुछ याद नहीं। सुबह होश आया तो मैंने शोर मचाया, पड़ोसियों को बुलाया। फिर पुलिस बुलाई। बाबा हत्या कर घर से भाग गए थे।
यह घटना कानपुर शहर से 38 किमी दूर घाटमपुर के सजेती के कोरिया गांव में घटी है। गांव निवासी हीरालाल ने पत्नी शिवकांती की हत्या की है। सजेती पुलिस मौके पर पहुंची तो घर में चारपाई के पास जमीन पर शिवकांती की लाश पड़ी थी। सिर से काफी खून बहा था। डॉग स्क्वायड और फोरेंसिक टीम भी मौके पर पहुंची और सबूत जुटाए। शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा हैं।
हत्यारे हीरालाल के 10 साल के पोते रौनक ने पुलिस को बताया कि मैं दादी के साथ घर पर था। देर रात अचानक गेट खटखटाने की आवाज आई तो दादी ने गेट खोला। देखा तो बाबा थे। वह घर पर आए। दादी ने उन्हें खाना परोसकर दिया। इसी दौरान दोनों में किसी बात को लेकर झगड़ा होने लगा। खाना खाकर उठते ही बाबा ने दादी को पीटना शुरू कर दिया। पहले लात-घूसे और थप्पड़ बरसाए। फिर पास में रखे पीढ़े से वार कर दिया। इतने में दादी जमीन पर गिर गईं। फिर बाबा में दो-तीन और वार किए। दादी थोड़ी देर छटपटाई और दम तोड़ दिया। दादी के सिर से काफी खून निकल रहा था। यह सब देखकर मैं तेजी से चिल्लाया। बाबा गुस्से में बोले कि रुक जा आज तुझे भी नहीं छोड़ूंगा। इतने में बाबा ने मुझे भी थप्पड़ मारे। गला दबाकर कमरे में ले गए। मेरी भी हत्या की कोशिश की। बस, इसके आगे का मुझे याद नहीं। जब मुझे होश आया तो मैंने शोर मचाया लोगों को बुलाया।
फोरेंसिक टीम को मौके से महिला की टूटी चूड़ियां, जमीन पर घिसटने के निशान मिले हैं। टीम का अनुमान है कि पति ने घसीट-घसीटकर पीटा। बचने के लिए महिला ने बहुत कोशिश की। उसकी चूड़ियां भी टूट गईं। फोरेंसिक टीम ने मौके पर खून से सना पीढ़ा और अन्य सबूत जुटाए हैं।
हत्या की सूचना पर कानपुर एडीसीपी योगेश कुमार, घाटमपुर एसीपी कृष्णकांत यादव भी मौके पर पहुंचे। उन्होंने परिजनों और पोते से घटना की जानकारी जुटाई है। पोते ने पुलिस अधिकारियों को अपनी आंखों देखी बताई है।
हीरालाल के चार बेटे पप्पू, विजय, नन्हकू, चिंकू हैं। पप्पू और विजय की शादी हो चुकी है। दो बेटी प्रीति और गुड़िया की शादी हो चुकी है। पहले हीरालाल ईंट-भट्ठे पर मजदूरी करते थे। कुछ दिन से हीरालाल पंजाब में नौकरी करने लगे। लगभग 15 दिन पहले वह गांव लौटे थे। चारों बेटे बाहर रहकर प्राइवेट नौकरी करते हैं। घर पर हीरालाल की पत्नी शिवकांति अपने 8 साल के नाती रौनक और बहू के साथ रहती थीं। मां की मौत की सूचना पर बेटे घर पहुंच गए हैं।