July 1, 2025

संवाददाता
कानपुर।
कानपुर-सागर राष्ट्रीय राजमार्ग एन एच -34 के यमुना नदी पुल को मरम्मत के लिए बंद किया जा सकता है। इसके लिए जांच शुरू कर दी गई है। 49 साल पहले बने इस पुल पर रोजाना 20 हजार से अधिक भारी वाहन गुजरते हैं। इससे पुल जर्जर होने लगा है।
एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर पंकज यादव ने बताया कि मरम्मत के लिए डीपीआर बनाई जा रही है। इससे मरम्मत में लगने वाले समय और खर्च का पता चलेगा। कानपुर नगर और हमीरपुर जिला और पुलिस प्रशासन से बात कर मरम्मत कराई जाएगी। मरम्मत में एक से दो हफ्ते का समय लगने की संभावना है। इस दौरान पुल से भारी वाहनों का आवागमन रोका जाएगा।
पुल की कोठियों की जांच की जा रही है। यूनिट में शामिल हैदराबाद के इंजीनियर गोविंद और गोपाल एमबीआईयू मशीन से जांच कर रहे है। बता दें कि केंद्रीय सड़क अनुसंधान संस्थान संगठन ने पिछले साल अगस्त में सर्वे करके केंद्र को भेजी गई रिपोर्ट में पुल के कंपन करने का खुलासा किया था।
पुल के पिलर में लगी बेयरिंग तत्काल बदलने, दरारों को खत्म करने और मजबूती के लिए कोठियों की स्लैब की मरम्मत की संस्तुति की गई थी। इस पुल की क्षमता 40 टन की है। लेकिन पुल से 90 से 120 टन वजन के वाहन निकल रहे हैं, जिससे पुल को खतरा है। ओवर लोड वाहनों को न रोका गया तो पुल ज्यादा डैमेज हो सकता है।
यमुना नदी पर बने इस पुल का उ‌द्घाटन 30 जून 1976 को तत्कालीन मुख्यमंत्री नारायणदत्त तिवारी ने किया था। पुल को बने हुए 49 साल का लंबा वक्त बीत चुका है। तब से यमुना नदी का पुल जनपद की तरक्की में अपना योगदान देता चला आ रहा है। इस अवधि में पुल कई बार डैमेज हुआ। लेकिन अबकी बार जो रिपोर्ट आई है वो चौंकाने वाली है।