February 5, 2025

आ स. संवाददाता 

कानपुर।  यूपी विधानसभा पिछले 3 सालों में नए-नए प्रयोग के बारे में जानी जा रही है। हमारी ई-विधानसभा पेपरलेस है। ई-प्रणाली लागू करने में हम देश में नंबर वन हैं। जब हम विधानसभा में एक साथ बैठते हैं। तब हम समाज के बारे में सोचते हैं। जो सुधरता नहीं है, उसे प्रकृति सुधार देती है। पीएम मोदी के नेतृत्व में देश सुधार की ओर है। लोकतंत्र में हमने कभी अपनी बात को दूसरों पर नहीं थोपा।

यह बात मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को कानपुर में कही। योगी यहां कॉमनवेल्थ पार्लियामेंट्री एसोसिएशन के कार्यक्रम में यूपी-उत्तराखंड की 56 महिला विधायकों संबोधित कर रहे थे।

योगी ने महिलाओं से कहा कि आज हम 1 करोड़ 91 लाख बच्चों को जूते-मोजे और पूरी ड्रेस दे रहे हैं। एक जनप्रतिनिधि के रूप में शिक्षकों से बात कर सकते हैं। ऑपरेशन कायाकल्प के तहत स्कूल अच्छे बनाए गए। जनसहभागिता से ये काम किया गया। गांव आज 5 से 7 लोगों को रोजगार उपलब्ध करा रहा है। स्वावलंबी गांव की तरफ हम बढ़ रहे हैं।

सीएम योगी ने कहा- आप सब यहां एकत्र हुए हैं। दुनिया अंदर जो लोग अपने आपको प्रगतिशील कहते हैं उन देशो में महिला सदस्यों की सदस्यता कम है, यूपी में 15 और उत्तराखंड में 10 फीसदी है। महिलाओं को पहली बार जमीन में अधिकार दिया। गांव में ग्रामीणों के पास जमीन का प्रमाण नहीं होता था, अब घरौंनी के माध्यम से प्रमाण पत्र दिया जाता है। महिला के नाम पर जमीन का अधिकार होता ही है। रसोई गैस का कनेक्शन दिया। हर घर में शौचालय बनवाया।

आयुष्मान कार्ड दिया, नारी शक्ति अधिनियम बिल पारित हुआ। एक तिहाई विधानसभा सभा में नेतृत्व 2029 तक होने जा रहा है। महिला ग्राम प्रधान, ब्लॉक में भी प्रतिनिधि बढ़ा। विधायिका में तब बढ़ेगा जब वह स्वयं निर्णय लेकर आगे आएंगी। स्पेस साइंस में आगे बढ़ रही है। 

सीएम ने आगे कहा कि एक गांव आज 5 से 7 लोगों को रोजगार उपलब्ध करा रहा है। स्वावलंबी गांव की तरफ हम बढ़ रहे हैं। विधायक रहते हुए आप समाज के लिए क्या कर रहे हैं, इससे ज्यादा याद किए जाएंगे। एक विधायक 5 से 6 लाख आबादी का नेतृत्व कर रहा है। ये सौभाग्य लाखों में किसी एक को मिलता है। कहा-मैं उत्तर प्रदेश में काम कर रहा हूं और उत्तराखंड मेरी जन्मभूमि रही है। 

योगी ने कहा कि विधानसभा चुनाव के दौरान एक बच्ची स्कूल जा रही थी। मैंने बच्ची से बात की। मैंने उससे पूछा कि जूते क्यों नहीं पहने। बच्ची ने बताया कि भाई और मैं प्राइवेट स्कूल में पढ़ती हूं। उसी दिन बेसिक शिक्षा विभाग के साथ बैठक बुलाई। आज हम 1 करोड़ 91 लाख बच्चों को जूते मोजे और पूरी ड्रेस दे रहे हैं। एक जनप्रतिनिधि के रूप में शिक्षकों से बात कर सकते हैं। ऑपरेशन कायाकल्प के तहत स्कूल अच्छे बनाए गए। 

सीएम योगी ने कहा-जो अपने को प्रगतिशील देश कहते हैं वहां महिला जनप्रतिनिधि 10 फीसदी है। लेकिन यूपी में 14 फीसदी है। उत्तराखंड में 10 से ऊपर है। नारी शक्ति वंदन अधिनियम पारित कर इसमें सुधार किया गया है। लोकतंत्र हमारे रग रग में बसा हुआ है। भारत की परंपरा ने कभी किसी बात को किसी पर थोपा नहीं गया है। सभी को स्वतंत्रता दी गई है। लोकतंत्र बाद में आया लेकिन गणतंत्र 600 ईसा पूर्व से है। देश में जब 1952 में पहली बार चुनाव हुआ तो महिलाओ को भी वोट देने का अधिकार दिया गया। इंग्लैंड में भारत के बाद यह अधिकार दिया गया।

कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में पूर्व केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी पहुंची । कार्यक्रम में यूपी की 48 महिला विधायक और उत्तराखंड की आठ महिला विधायक शामिल हुई।

कानपुर से कल्याणपुर क्षेत्र की विधायक नीलिमा कटियार ने कहा, इस कार्यक्रम के कई दूरदर्शी मायने हैं। इससे महिलाओं की गुणवत्ता और दूष्टिकोण में सुधार होगा। विधायी परंपरा के तहत कैसे सुधार हो, यहां आई हुई महिलाओं ने समझा है। उन लोगों में विचार विनिमय हो रहा है, जोकि उपयोगी होगा।

अपना दल विधायक सरोज कुरील ने कहा-ये हम सभी के लिए सौभाग्य की बात है कि महिला और पुरुष एक साथ कंधा से कंधा मिलाकर चल रहे हैं।हमारा देश आगे बढ़ रहा है। इस कार्यक्रम से महिलाओं में आत्मविश्वस बढ़ेगा। उनकी प्रतिनिधत्व की क्षमता का विकास होगा।

कार्यक्रम में उत्तराखंड की विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूरी भूषण ने कहा कि आपके कार्य करने का तरीका बेहद अच्छा है। आज भी महिला पर अत्याचार हो रहा है। कहीं रेप, मर्डर, महिला हिंसा जैसे अपराध महिलाओं के साथ हो रहा। महिलाओं को आर्थिक रूप से स्वतंत्र करने के बहुत प्रयास हो रहे, लेकिन नहीं हो पा रहा। विधायिका में पूरे विश्व में राजनीति में 10 परसेंट है। लोकसभा में 28 परसेंट ऐसी सीट थी, जहां महिला लड़ने के लिए नहीं मिल रही थी। राजनीति आज भी मेल डोमिनटेडेड है। आज भी पुरुष प्रधान देश है। कभी कभी कष्ट होता है, विधायक बनने के बाद भी पूछा जाता है कि क्या कर सकती हो।

महिला जब तरक्की करती है तब उसके चरित्र पर सवाल उठते हैं। कुछ हारने वाली सीट महिला को दे दी जाती है। लेकिन वो सीटें भी देनी चाहिए जो जीती जा सकती हैं। पुरुषो के मुकाबले महिला ज्यादा मल्टी टास्किंग हैं। उत्तराखंड में प्रधान से लेकर मेयर तक महिलाओं की भागदारी बढ़ी है। कोटद्वार में 40 वार्ड में आधे से ज्यादा पर महिला लड़ रही हैं। हम चाहेंगे कि पूरे देश की महिला विधायकों के लिए एक मंच बने। जहां हम सभी मिले और विचारों का आदान प्रदान करें। हमें ताली भी मिलती है और गाली भी मिलती है। बेटे को संस्कार दीजिए जिससे निर्भया जैसे कांड न हो।

विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना ने बताया कि यहां महिला विधायकों का सशक्तिकरण और विधानसभा से जुड़ी बारीकियों का प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसमें सभी दलों की विधायकों को आमंत्रित किया गया है।

उत्तर प्रदेश विधानसभा में 48 महिला विधायक हैं। हालिया उपचुनाव में जीती सपा की नसीम सोलंकी भी इसमें शामिल हैं। कॉमनवेल्थ पार्लियामेंट्री एसोसिएशन की पहल पर बिठूर में महिला विधेयक सम्मेलन की पूरी कार्रवाई को देश के विभिन्न राज्यों की विधानसभाओं के लिए सरकुलेट की जाएगी।

विधानसभा अध्यक्ष बोले कि पहले हमारी महिला विधायक 47 थीं, अब 49 हो गई हैं। बहन नसीम सोलंकी भी जीत कर आई हैं। हमारी महिला विधायक पूरे देश में बड़ा मैसेज देती हैं। मैंने इस बार मुख्यमंत्री योगी जी से बात की है कि इस बार महिलाओं के लिए विधानसभा में महिला विधायकों का अलग सेशन रखा जाएगा।

उत्तराखंड की विधान सभाध्यक्ष ऋतु खंडूरी भूषण, मंत्री रेखा आर्या, विधानसभा सदस्या सरिता आर्या, सविता कपूर, ममता राकेश, रेनू विष्ट, पार्वती दास भागीरथी, अनुुपमा रावत, आशा नौटियाल, डॉ. कल्पना सैनी, माला राज्यलक्ष्मी शाह पहुंची हैं।