कानपुर। आभा नर्सिंग होम की संचालिका डॉ. प्रतिभा रोहतगी के नाम पर लोन कराकर 1.50 करोड़ की ठगी करने वाले शातिर राहुल कटियार को ग्वालटोली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। जबकि उसकी पार्टनर नेहा तिवारी और एक अन्य सहयोगी व्यक्ति रजत सिंह फरार है। पुलिस नेहा और रजत की तलाश में दबिश दे रही हैं।
डीसीपी सेंट्रल दिनेश त्रिपाठी ने बताया कि नेहा और राहुल पीड़िता डा. प्रतिभा के परिवार का शेयर और म्युचुवल फंड में निवेश का काम देखते थे। शातिरो ने उन्हें भरोसे में लेने के बाद पूरी ठगी को अंजाम दिया। शातिरों ने ठगी की रकम से लग्जरी कार, हाईवे पर ढाबा और जमीन खरीदी है। पुलिस की जांच में तीनों का कच्चा चिट्ठा सामने आ गया।
कैलिफोर्निया निवासी डॉ. आभा ने ग्वालटोली थाने में 1.50 करोड़ की ठगी की एफआईआर दर्ज कराई है।उनकी एफआईआर के मुताबिक ग्वालटोली निवासी 92 वर्षीया बड़ी बहन डा.प्रतिभा अपने आभा नर्सिंग होम का संचालन करती हैं। चार साल से अल्जाइमर से पीड़ित होने के चलते उन्होंने पावर ऑफ अटॉर्नी डा. आभा के नाम पर कर दी थी। नेहा तिवारी और राहुल कटियार दोनों उनका शेयर और म्युचुवल फंड में निवेश का काम देखते थे। इसी के चलते दोनों ने उनके भरोसे का फायदा उठाया और दोनों शातिरों ने कर्मचारियों की मदद से डा. प्रतिभा के नाम पर किदवईनगर स्थित एचडीएफसी बैंक में फर्जी दस्तावेजों से खाता खुलवाया। इसमें बैंक कर्मी रजत सिंह ने उनका साथ दिया। फिर दिल्ली की न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी स्थित बैंक की शाखा में ऑनलाइन खाता खुलवाया गया। वहां की शाखा से डेढ़ करोड़ का लोन ले लिया जिसे किदवईनगर के खाते में ट्रांसफर कराकर पूरी रकम कैश करा ली गई । जब किस्ते नहीं भरी गईं तो बैंक से नोटिस आने पर जालसाजी का पता चला। पुलिस ने तीनो पर केस दर्ज कर नौबस्ता निवासी राहुल को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया ।
डीसीपी सेंट्रल दिनेश त्रिपाठी ने बताया कि राहुल कटियार और नेहा तिवारी पार्टनरशिप में फोर साइट इनवेस्टमेंट नाम से फर्म चलाते हैं। डा. प्रतिभा रोहतगी का पोर्ट फोलियो ये दोनों ही हैंडल करते थे। मोटी रकम और उनके विदेश में होने का फायदा उठाकर शातिरों ने पूरी ठगी को अंजाम दिया। लेकिन पुलिस की जांच में दोनों का कच्चा चिट्ठा सामने आ गया।
आभा नर्सिंग होम की मालकिन 92 साल की डॉ. प्रतिभा रोहतगी के साथ हुई ठगी का मामला जब उनकी 70 वर्षीय बहन डॉ. आभा को पटा चला तो उन्होंने कैलिफोर्निया अमेरिका से कानपुर के पुलिस कमिश्नर को शिकायत की। पुलिस कमिश्नर ने एसीपी कर्नलगंज से गोपनीय जांच कराई।जिसमें जलसाजो के पूरे खेल का खुलासा हो गया। सीपी के आदेश पर धोखाधड़ी समेत गंभीर धारओं में एफआईआर दर्ज की गई।
डा. प्रतिभा रोहतगी के नाम से डेढ़ करोड़ रुपये का लोन लेने के बाद शातिरों ने रुपये निकालने के लिए भी बेहद चालाकी भरा रास्ता चुना। आरोपितों ने दिल्ली के न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी स्थित ब्रांच में खाता खुलवाने के बाद रुपये एचडीएफसी बैंक किदवईनगर ब्रांच में खोले गए डॉक्टर प्रतिभा के फर्जी अकाउंट में ट्रांसफर किए।
आभा नर्सिंग होम के पास स्थित एक एटीएम से कई बार में पूरे रुपये निकाले जिससे भविष्य में यदि बात खुले तो कह सकें कि डॉक्टर प्रतिभा ने नजदीकी एटीएम से रुपये निकाले। डॉक्टर आभा ने बताया कि उनकी बहन डा. प्रतिभा ने वर्ष 2020 में ही पॉवर ऑफ एटॉर्नी उनके नाम की थी। किसी भी बैंक खाते से एक भी रुपये का लेनदेन उनकी इजाजत के बगैर नहीं होता था।