आ. सं.
कानपुर। आईआईटी कानपुर का वेंटिलेटर आईसीयू अब घर बैठे डॉक्टरों को मरीज की पल-पल की रिपोर्ट देगा। अभी तक डॉक्टर जब तक अस्पताल में रहते थे तभी तक मरीज की स्थिति देख पाते थे। स्थिति बिगड़ने पर स्टाफ डॉक्टर को फोन कर जानकारी देते थे, लेकिन अब डॉक्टर खुद ही हर पल की स्थिति से अपडेट रहेंगे।
आईआईटी कानपुर के निखिल कुरेले ने इस आईसीयू को तैयार किया है। फील्ड सर्विस इंजीनियर विशाल शर्मा ने बताया कि ये आईसीयू ऐसे है, जिसको वाईफाई से कनेक्ट कर दिया जाएगा। इसके बाद डॉक्टर के मोबाइल से इसे एक एप के माध्यम से जोड़ दिया जाएगा।
अब मरीज को यदि कोई भी दिक्कत होती है, किस समय उसे क्या दवा देनी है या क्या ट्रीटमेंट देना है, ये सब चीजें डॉक्टर आसानी से बता सकेंगे। इस आईसीयू में रिमोट मॉनिटरिंग सिस्टम लगाया है।
इस मशीन की सबसे खास बात ये है कि अभीतक जब मशीन खराब हो जाती है तो डॉक्टरों को ये नहीं पता होता है कि मशीन को लेकर किससे शिकायत करे। वो सीधे कस्टम केयर में फोन करते है। विशाल ने बताया कि इस मशीन की खास बात है कि इसमें रिक्वेस्ट कॉल का ऑप्शन दिया गया है।
जैसे ही आप उसमें जाएंगे तो तुरंत ही एक कॉल कंपनी के पास पहुंच जाएगी और कंपनी के आदमी तत्काल उस मशीन को एक घंटे के अंदर ही अपनी जगह पर बैठे-बैठे ठीक कर देंगे। यदि कोई पार्ट खराब होता है तो उसके लिए 24 घंटे का समय लेगी।
आम तौर पर जो मशीनें अस्पताल में लगी रहती है उनकी कीमत लगभग 5 से 6 लाख तक की होती है। वहीं, ये जो मशीन बनाई गई है उसकी कीमत 8 लाख रुपए की है। इसमें 3 प्रकार के मोड दिए गए है। इसमें असिस्टेंट कंट्रोल मोड, एडवांस मोड, सपोर्ट मोड का सिस्टम दिया गया है।
200 बेड के लखनऊ के बाबू युवराज हॉस्पिटल में, 200 बेड के अस्पताल जीएसएस मैनपुरी में, 100 बेड के अस्पताल आरएन पांडेय गोंडा में इस आईसीयू वेंटिलेटर का प्रयोग किया जा रहा है।