
संवाददाता
कानपुर। गणेश शंकर विद्यार्थी मेडिकल कॉलेज के हैलट अस्पताल में मरीजों के साथ अभद्रता करने और बाहर की दवा लिखने वालों डॉक्टरों की सूची तैयार की जाएगी। इस पूरे मामले में मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. संजय काला ने कड़ा रुख अपनाया है।उन्होंने खुद एक-एक ओपीडी में जाकर मरीजों का पर्चा चेक किया। देखा कि कोई डॉक्टर मरीज को बाहर की ब्रांडेड दवा तो नहीं लिख रहा हैं। इस दौरान ओपीडी में प्राचार्य को देखकर अफरा-तफरी मच गई।
पिछले दिनों मेडिसिन विभाग के एक डॉक्टर गुटखा खाकर मरीजों को देख रहे थे। इस पर एक मरीज ने उन्हें टोक भी दिया। इस पर डॉक्टर साहब नाराज हो गए और उन्होंने मरीज को खरीखोटी सुना दी। ये प्रकरण प्राचार्य डॉ. संजय काला के संज्ञान में भी हैं।
इस तरह से कई और डॉक्टरों की भी शिकायत उन तक पहुंची है। इस पर उन्होंने कहा है कि एक गोपनीय कमेटी बनाई गई है, जो ऐसे प्रकरणो की जांच करेगी। इसके बाद किसी के दोषी मिलने पर कार्रवाई की जाएगी।
जिस मरीज के साथ अभद्रता की शिकायत मिली है। उस मरीज से टीम संपर्क करेगी और पूछताछ करेगी। डॉ. संजय काला ने बताया कि अस्पताल के अंदर बने औषधि केंद्र में मरीजों की सुविधा को देखते हुए एक बोर्ड लगाया जाएगा।
इस बोर्ड में वो सारी दवाएं लिखी जाएंगी जो यहां पर उपलब्ध होगी। वैसे दवाओं की सूची डॉक्टरों को भी उपलब्ध कराई जाती है। इसके बावजूद भी ये लोग बाहर की दवा लिखते हैं।
डॉ. काला ने बताया कि कमेटी के सदस्य सभी ओपीडी में जाकर मरीजों के पर्चों की निगरानी करेंगे। यदि किसी की ओपीडी में मरीज को बाहर की दवा लिखी जाएगी तो उस डॉक्टर को तत्काल कारण बताओ नोटिस जारी की जाएगी। उनसे पूछा जाएगा कि उन्होंने मरीज को किस कारण से बाहर की दवा लिखी है।
डॉ. काला ने ये भी निर्देश दिए है कि किसी भी ओपीडी में कोई दवा एजेंट नहीं मिलना चाहिए। यदि कोई एजेंट आकर मरीजों को बहला फुसला कर ले जाता है तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
आर्थो और मेडिसिन विभाग की ओपीडी में कुछ दवा एजेंट काफी सक्रिय है। इन पर भी अब निगाह रखी जाएगी।