August 8, 2025

संवाददाता

कानपुर। अपराधियों पर प्रहार करने और कानून-व्यवस्था सुदृढ़ करने के उद्देश्य से पुलिस कमिश्नरेट द्वारा प्रारंभ किए गए ‘ऑपरेशन महाकाल’ के नाम पर कुछ दुस्साहसी तत्व अवैध वसूली एवं धौंसजमाई का निंदनीय कार्य कर रहे हैं, जिससे समुदाय विशेष में आक्रोश व्याप्त हो गया है। 

मेस्टन रोड स्थित दो व्यापारी भाइयों इमरान और फरहान ने एक कथित ‘समाजसेवी’ अकील अहमद खान पर 10 लाख रुपये की रंगदारी मांगने का गंभीर आरोप लगाया है। पीड़ितों ने कानपुर पुलिस कमिश्नर को लिखित शिकायत में खुलासा किया है कि अकील ने अपने गुंडों के साथ धमकाते हुए कहा, जिस प्रकार मैंने विधायक इरफान सोलंकी का हाल किया, वही तुम्हारा भी कर दूंगा।  अकील ने अपने ऊपर मुख्यमंत्री का संरक्षण होने का दावा करते हुए उन्हें प्रताड़ित किया। जब व्यापारियों ने रंगदारी देने से साफ इनकार कर दिया, तो अकील ने अपने संरक्षित गुर्गे वहीदुद्दीन एवं अन्य बदमाशों के साथ मिलकर उनके परिवार को जान से मारने की धमकी दी। इसके अलावा, पीड़ितों के विरुद्ध झूठा मुकदमा दर्ज करवाकर उन्हें कानूनी फंदे में फंसाने की साजिश रची गई।  

इस गंभीर मामले को लेकर पीड़ितों ने सीधे पुलिस कमिश्नर से गुहार लगाई है। पुलिस प्रमुख ने तत्काल कड़ी जांच का आश्वासन देते हुए स्पष्ट किया कि “कानून का दुरुपयोग करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा, चाहे वे कितने भी प्रभावशाली क्यों न हों।”

यह मामला ‘ऑपरेशन महाकाल’ जैसे प्रशंसनीय अभियान की विश्वसनीयता पर गंभीर सवाल खड़े करता है। जहां पुलिस का उद्देश्य अपराधियों का सफाया करना है, वहीं कुछ अपराधी मानसिकता वाले लोग इसी के बैनर तले अवैध धंधे चला रहे हैं। अब यह पुलिस की कार्रवाई पर निर्भर करेगा कि वह क्या ऐसे दबंगों के विरुद्ध कठोर कदम उठाती है या उन्हें संरक्षण देने वालों की ओर से आंखें मूंद लेती है। 

व्यापारी भाइयों ने पुलिस से त्वरित और निष्पक्ष कार्रवाई करने की मांग की है, उनका कहना है कि पुलिस कार्यवाही होने से जनता का विश्वास बहाल हो सकेगा, अन्यथा ऐसे भ्रष्ट तत्वों का आतंक और गहराएगा।