संवाददाता।
कानपुर। नगर में राष्ट्रीय शर्करा संस्थान, कानपुर को “शुगर रिफाइनरी ऑपरेशंस” पर एक नया लघु अवधि पाठ्यक्रम शुरू करने के लिए उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय से मंजूरी मिल गई है। संस्थान के निदेशक प्रो. नरेंद्र मोहन ने बताया कि विशेष रूप से डिजाइन किया गया तीन महीने की अवधि का यह पाठ्यक्रम विश्व स्तर पर किसी भी शुगर इंस्टिट्यूट में अपनी तरह का पहला होगा।प्रो. नरेंद्र मोहन ने बताया कि गुणवत्ता वाले उत्पादों के बारे में आम उपभोक्ता की पसंद में बदलाव और औद्योगिक उपयोगकर्ताओं द्वारा बेहतर गुणवत्ता वाली सल्फर-रहित चीनी की आवश्यकता के कारण, पिछले कुछ वर्षों के दौरान रिफाइंड शुगर की आवश्यकता बढ़ी है। अब, देश में ऐसी चीनी का उत्पादन करने वाली लगभग 80 चीनी इकाइयां हैं, लेकिन शुगर रिफाइनरी के संचालन के बारे में विशेष रूप से प्रशिक्षित सुपरवाइजरी स्टाफ की उपलब्धता हमेशा से एक मुद्दा रही है। इसलिए हमने इस पाठ्यक्रम को शुरू करने पर विचार किया। इसमें नए विज्ञान स्नातकों के साथ-साथ चीनी उद्योग के सेवारत कर्मियों को प्रशिक्षित किए जाएंगे।प्रो. नरेंद्र मोहन ने बताया कि यह पाठ्यक्रम मई-जुलाई के दौरान आयोजित किया जाएगा, जब चीनी मिलें संचालित नहीं होती हैं और इसलिए चीनी उद्योग के कर्मियों के लिए यह पाठ्यक्रम लेना संभव होगा। साथ ही इस अवधि के दौरान संस्थान में अधिकांश ढांचागत सुविधाओं का पूरी तरह से उपयोग नहीं किया जाता है, इसलिए इसका उपयोग करते हुए बिना किसी अतिरिक्त संसाधनों की मांग के इस कोर्स को चालू करना संभव होगा। निदेशक ने कहा कि व्यावहारिक अनुभव प्रदान करने के लिए संस्थान की प्रायोगिक चीनी मिल में हमारे पास पहले से ही एक चीनी रिफाइनरी है। शिक्षा प्रभारी अशोक कुमार गर्ग ने कहा कि फरवरी 2024 के अंत तक इस विशेष पाठ्यक्रम के लिए प्रवेश सूचना जारी कर दी जाएगी।