बच्चों को देखकर डॉक्टरों का भी दिल पसीजा।
मानकों के विपरीत चल रही गाडियों में आरटीओ मौन
संवाददाता।
कानपुर। नगर में जीटी रोड पर गुरुवार दोपहर भीषण सड़क हादसा हुआ था। यहां तेज रफ्तार लोडर ने एक स्कूली बच्चों से भरी वैन को जोरदार टक्कर मार दी थी। फिर ट्रक ने वैन को रौंद दिया था। हादसे में वैन के परखच्चे उड़ गए थे और 1 बच्चे की मौत हो गई थी। 8 से 10 बच्चे गंभीर रूप से घायल हो गए थे। घायल बच्चों की हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है। 3 बच्चों का हैलट अस्पताल में ऑपरेशन किया जाएगा। किसी के गले की नस कटी है, तो किसी के पैरों का मांस फट गया है। वहीं, किसी का जबड़ा फैक्चर हो जाने के कारण मुंह खुलना बंद हो गया है। खून से लथपथ बच्चों को देखकर अस्पताल के डॉक्टरों का भी दिल पसीज गया। ये मामला आरौल थाना क्षेत्र का है। मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. संजय काला ने बताया, घटना में घायल अभिनंदन (13 वर्ष) के गले में गंभीर चोट आई है। शायद कांच लगने की वजह से उसके गले की नस कट गई है। जिसके कारण खून अधिक बह गया है। ऑपरेशन करके उस नस को जोड़ा जाएगा। अभी, फिलहाल उसे आईसीयू में शिफ्ट कर दिया गया है। मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों के मुताबिक, देवांश चौरसिया (8 वर्ष) के चेहरे पर ज्यादा चोट आई है। उसका दोनों तरफ का जबड़ा टूट जाने के कारण। उसको बोलने में भी दिक्कत हो रही है। हालांकि हाथ पैरों में हलकी-फुलकी चोट है, लेकिन चेहरे पर अधिक चोट है। डॉ. संजय काला के मुताबिक शुक्रवार को देवांश के जबड़े का ऑपरेशन कर उसे जोड़ा जाएगा। दंत रोग विशेषज्ञों की एक टीम लगातार उसकी देखरेख में लगी है।घटना में घायल अनिका कटियार (13 वर्ष) के बाएं पैर का मांस काफी फट गया है। इस कारण उसका भी ऑपरेशन करना पड़ेगा। वहीं, बायां हाथ भी फैक्चर है। डॉक्टर के मुताबिक पहले पैर का ऑपरेशन करना जरूरी है। इसलिए सुबह उसके पैरों का ऑपरेशन किया जाएगा। इसके बाद हाथ की स्थिति को देखने के बाद ही अगला निर्णय जल्द लिया जाएगा। डॉ. काला के मुताबिक यदि हाथ में प्लास्टर बांधने से ठीक हो जाता है तो वैसा ही किया जाएगा, फिलहाल ऑर्थो के डॉक्टर की टीम उसे देख रहे हैं। प्राचार्य डॉ. संजय काला ने बताया कि एतियात के तौर पर सभी बच्चों को 24 घंटे के लिए आईसीयू में रखा गया है। फिलहाल, हैलट अस्पताल में भर्ती सभी पांचों बच्चे खतरे से बाहर है। बच्चों को जिस चीज की दिक्कत हुई है। उसके स्पेशलिस्ट डॉक्टर का पैनल भी आईसीयू में तैनात कर दिया गया है, जिनकी निगरानी में यह सभी बच्चे रहेंगे। हादसे की जांच में सामने आया है कि अपना दल (कमेरावादी) की राष्ट्रीय अध्यक्ष कृष्णा पटेल के स्कूल में मानकों को ताक पर रखकर स्कूली वैन दौड़ाई जा रही थी। इसी के चलते हादसे में एक बच्चे की मौत हो गई और 8 बच्चे गंभीर घायल हैं। जिसमें से तीन की हालत नाजुक बनी हुई है। देर रात तक वैन चालक और स्कूल प्रबंधन के खिलाफ कोई एफआईआर नहीं दर्ज हो सकी। डीसीपी वेस्ट विजय ढुल ने बताया कि गोविंद प्रसाद रानी देवी पटेल महाविद्यालय (जीपीआरडी) की शाखा डॉ. सोनेलाल पटेल एजूकेशन सेंटर अरौल की स्कूली वैन हादसे का शिकार हुई। यह स्कूल अपना दल (कमेरावादी) की राष्ट्रीय अध्यक्ष कृष्णा पटेल का है। प्राथमिक जांच में पाया गया कि वैन कॉमर्शियल नहीं होने के बाद भी उससे बच्चों को ढोया जा रहा था। 13 साल 1 महीने पुरानी खटारा वैन से बच्चों की जान जोखिम में डालकर उसे चलाया जा रहा था जिसका आरटीओ से फिटनेस सर्टिफिकेट भी नही था। एक-दो नहीं एक दर्जन से ज्यादा वैन स्कूल से चलती हैं, लेकिन एक भी कॉमर्शियल नहीं है। इतना ही नहीं आठ सीटर वैन में बच्चों को भूसे की तरह ठूंस-ठूंस कर बैठाया जाता है। देर रात तक कोई तहरीर नहीं मिलने के चलते पुलिस ने एफआईआर दर्ज नहीं की है। शुक्रवार को मृतक छात्र यश का पोस्टमार्टम कराने के बाद शव परिजनों के सुपुर्द किया जाएगा। हादसे के बाद जिला प्रशासन, आरटीओ और ट्रैफिक पुलिस की नींद टूटी है। अब शुक्रवार से डीएम की फटकार के बाद आटीओ प्रवर्तन का दस्ता शहर में अलग-अलग जगहों पर स्कूली वाहनों की चेकिंग का अभियान शुरू करेगा। वहीं डीसीपी ट्रैफिक आरती सिंह ने भी मानक के विपरीत दौड़ रही वैन समेत अन्य स्कूली वाहनों पर कार्रवाई का निर्देश दिया है। पुलिस कमिश्नर ने भी बच्चों की जान से खिलवाड़ करने वाले व मानक के विपरीत दौड़ रहे वाहनों को सीज करने का आदेश दिया है।