June 20, 2025

संवाददाता

कानपुर। आईजीआरएस पोर्टल पर लगातार कानपुर के पिछड़ने पर जिलाधिकारी जितेन्द्र प्रताप सिंह ने अब कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने साफ कहा है कि अब संबंधित अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी। इसके अलावा निर्देश दिए है अब जिस विभाग का भी फीडबैक खराब आएगा, उसके ऊपर भी गाज गिरना तय है।

जिलाधिकारी ने कहा कि कुछ विभागों में यह नकारात्मक फीडबैक 83 प्रतिशत तक दर्ज किया गया है, जो विभागीय कार्यप्रणाली में गंभीर शिथिलता और नागरिकों की अपेक्षाओं की घोर अनदेखी को दर्शाता है।
यह कर्तव्य निर्वहन में स्पष्ट उदासीनता का द्योतक है। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह दर्शाता है कि संबंधित अधिकारियों व कर्मचारियों द्वारा गंभीरतापूर्वक और गुणवत्तापरक ढंग से शिकायतों का निस्तारण नहीं किया गया है। उनके पर्यवेक्षणीय दायित्वों का कुशलतापूर्वक निर्वहन नहीं किया गया है।
उन्होंने कहा कि इस गंभीर चूक के परिणामस्वरूप, जनपद की रैंकिंग प्रतिकूल रूप से प्रभावित हुई है, जिससे जिले की प्रशासनिक छवि को भी गहरा आघात पहुंचा है।
जिलाधिकारी ने सहायक श्रमायुक्त समेत कई विभाग के अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे अपने अधीनस्थ अधिकारियों, कर्मचारियों का दायित्व निर्धारण करके नियमानुसार आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करें। सभी विभागों को 9 जून तक की समय-सीमा दी गई है, जिसके भीतर ही करी गई कार्यवाही से अवगत कराना होगा।
जिलाधिकारी ने माना है कि कुछ अधिकारियों की वजह से रैंकिंग खराब हुई है। इन अधिकारियों में मुख्यतः सहायक श्रमायुक्त आरएल पटेल, जिला विद्यालय निरीक्षक अरुण कुमार, तहसीलदार सदर रितेश सिंह, लोक निर्माण विभाग के अधिशाषी अनूप मिश्रा, उपजिलाधिकारी सदर रितुप्रिया, जलकल के महाप्रबंधक आनन्द त्रिपाठी और नगर निगम शामिल हैं।
जिलाधिकारी ने कहा कि निर्धारित समय-सीमा तक संतोषजनक रिपोर्ट प्राप्त न होने की स्थिति में संबंधित अधिकारी के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए शासन को प्रस्ताव प्रेषित कर दिया जाएगा।