
आ स. संवाददाता
कानपुर। नगर भाजपा में मंडल अध्यक्षों और जिला प्रतिनिधि पद को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। पार्टी में लोकतांत्रिक व्यवस्था के तहत मंडल अध्यक्ष से लेकर जिलाध्यक्ष पद तक चुनाव कराए जा रहे हैं। भाजपा कानपुर उत्तर, दक्षिण और ग्रामीण जिले के लिए मंडल अध्यक्ष और जिला प्रतिनिधि पद के लिए चुनाव संपन्न हो चुके हैं।
भाजपा उत्तर जिले में जारी हुई मंडल अध्यक्ष और जिला प्रतिनिधि लिस्ट जारी होते ही विवाद खड़ा हो गया है। अंदरखाने में पार्टी कार्यकर्ताओं ने भाजपा की लोकतांत्रिक व्यवस्था पर सवाल खड़े करना शुरू कर दिया है।
भाजपा सूत्रों के मुताबिक चंचल भदौरिया, प्रशांत पाल, वात्सेय त्रिपाठी, मनीष अवस्थी, ज्योति बाल्मिकी पहले मंडल अध्यक्ष और शिवगोपाल सिंह मंडल महामंत्री थे। सभी ने मंडल अध्यक्ष पद के लिए आवेदन किया था। जबकि जिला प्रतिनिधि पद के लिए अलग से आवेदन लिए गए थे। लेकिन आवेदन के विपरित दूसरे पद थमा दिए गए।
पार्टी की मंडल अध्यक्ष रही ज्योति बाल्मिकी ने इसका विरोध खुलकर किया है। ज्योति बाल्मिकी ने बताया कि उन्होंने मंडल अध्यक्ष पद के लिए आवेदन किया था। बिना आवेदन ही उन्हें जिला प्रतिनिधि बना दिया गया। ये संगठन की कैसी माया है। चारों तरफ सिर्फ कार्यकर्ताओं को बहकाया जा रहा है।
भाजपा में मंडल अध्यक्ष और जिला प्रतिनिधि बनने के लिए पहले आवेदन होते हैं। मंडल अध्यक्ष बनने के लिए बूथ अध्यक्षों से वोट कराया जाता है। वोटिंग के आधार पर ही विजेता घोषित किया जाता है। इस बार आवेदन तो लिए गए लेकिन वोटिंग प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया। प्रदेश स्तर से ही नाम घोषित कर दिए गए।
भाजपा कानपुर उत्तर में 14 मंडल हैं। पार्टी ने अभी 10 मंडल अध्यक्षों के नाम घोषित किए हैं। इसके अलावा 11 जिला प्रतिनिधि पद में 10 के ही नाम घोषित किए है। कौशलपुरी मंडल में नाम घोषित नहीं किया गया है।
मामले में भाजपा कानपुर-बुंदेलखंड क्षेत्र के क्षेत्रीय अध्यक्ष प्रकाश पाल ने बताया कि लोकतांत्रिक व्यवस्था के तहत ही चुनाव संपन्न कराए गए हैं। जिनके नाम को लेकर सहमति बन गई होगी, उन्हें ही जिला प्रतिनिधि बनाया गया है। सभी लिस्ट प्रदेश स्तर से जारी की जाती है।